महंगाई की मार का असर हर तरफ बढ़ता ही जा रहा है युवा वर्ग का देखकर तो ऐसा लगता है जैसे जिंदगी के रंग ही फीके पड़ गए है खाने पीने की चीजों के दाम ऊचाई के शिखर पर पहुच गए है कुछ खरीदना भी मुश्किल हो गया है
खरीदने से पहले सोचना पढता है क्या ख़रीदे पहले पेप्सी की बोतल दस रुपये में आ जाती थी आज पेप्सी की बोतल बारह रुपये में आती है बस का किराया हर साल बढ़ा दिया जाता है विधार्थियों ने कॉलेज व् स्कूल जाना भी बंद कर दिया है बस व् ऑटो के दाम स्टुडेंट की शिक्षा के आड़े आ रहे है डीजल व् तेल की कीमते भी ऊचाई के शिखर को छू रही है जो स्टुडेंट मोटरसाईकिल से कॉलेज या स्कूल आते थे आज वो स्टुडेंट सिर्फ घर में बैठे है युवा वर्ग के लिए पार्टी तो सिर्फ सपना बन कर रह गया है जो पार्टी पहले १००-२०० रुपये में हो जाती थी आज वही पार्टी ५०० रुपये में होती है पार्टी का रंग फीका पड़ गया है सिनेमा में जाना भी अब सिर्फ सपना ही बना रहेगा
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सच में युवा लोग महंगाई की मार झेल रहे है!क्यूंकि इसी उम्र में ही तो पार्टी का मज़ा होता है,जिसे महंगाई ने फीका कर दिया है..
ReplyDeleteto aap jakar soniya ghandhi ban jaiye....
ReplyDeletekoi samadhan nahi hai.narayan narayan
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